लोकसभा में नया इनकम टैक्स बिल 2025 पेश कर दिया गया है. नए बिल में सरकार द्वारा कानूनों को आसान बनाने पर जोर दिया गया है. नया कानून पुराने इनकम टैक्स एक्ट, 1961 की जगह लेगा, जो कि मौजूदा समय में पुराना पड़ चुका है और बार-बार संशोधनों के कारण काफी पेचीदा हो गया है. नए इनकम टैक्स बिल 2025 में सरकार ने सुधारों पर भी जोर दिया है.
नए इनकम टैक्स बिल में सेक्शन की संख्या घटाकर 819 से 536 कर दी गई है. इसमें अनावश्यक छूटों को समाप्त कर दिया गया है और साथ ही नए बिल में कुल शब्द संख्या 5 लाख से घटाकर 2.5 लाख कर दी गई है. नए इनकम टैक्स बिल में चीजों को आसान बनाने पर फोकस किया गया है. साथ ही ‘असेसमेंट ईयर’ को ‘टैक्स ईयर’ से रिप्लेस किया जाएगा.
लोकसभा में पेश होने के बाद, नए कानून को आगे के विचार-विमर्श के लिए वित्त पर संसदीय स्थायी समिति को भेजा जाएगा. यह बिल मौजूदा टैक्स स्लैब में बदलाव नहीं करेगा या दी गई टैक्स छूट को कम करेगा. इसके बजाय नए कानून का लक्ष्य छह दशक पुराने कानून को मौजूदा समय के अनुकूल बनाना है. इससे भारत का टैक्स बेस मजबूत होगा और लंबे समय में आय स्थिरता में सुधार होगा. यह कानून भारत के टैक्स सिस्टम को ग्लोबल बेस्ट प्रैक्टिस के करीब भी लाता है.