होम इंश्योरेंस, कार इंश्योरेंस और लाइफ इंश्योरेंस की तरह पर्सनल लोन या होम लोन का भी इंश्योरेंस करवा सकते हैं. यह मुश्किल समय में काफी मदद कर सकता है. लोन का इंश्योरेंस लेने वाले व्यक्ति की इनकम का सोर्स खत्म हो जाने या उसकी मृत्यु हो जाने पर हर महीने लोन की किस्त चुकाने की मजबूरी से बचा सकता है. परिस्थितियों के अनुकूल नहीं होने की स्थिति में आप इंश्योरेंस की राशि से लोन की बकाया राशि का भुगतान कर सकते हैं.
आपको बता दें कि पर्सनल लोन या होम लोन का इंश्योरेंस खरीदने के कई फायदे हैं. लोन इंश्योरेंस के प्रीमियम भुगतान को हर महीने लोन की किस्त के साथ भी कर सकते हैं. आइए जानते हैं लोन इंश्योरेंस के क्या फायदे हैं और आपको यह क्यों खरीदना चाहिए.
लोन का इंश्योरेंस कराने के फायदे
पर्सनल लोन या होम लोन का इंश्योरेंस करवाते हैं तो अनुकूल परिस्थितियां नहीं रहने पर बैंक का लोन चुकाने की चिंता नहीं रहती है. क्योंकि हर महीने की सैलरी का एक हिस्सा लोन की ईएमआई चुकाने में खर्च होता है. वहीं यह इंश्योरेंस लोन लेने वाले व्यक्ति की मृत्यु हो जाने पर परिवार को लोन चुकाने के बोझ से बचा सकता है. इसके अलावा कुछ लोन इंश्योरेंस पॉलिसी टैक्स सेविंग में भी काम आ सकती हैं. लोन का बीमा कराने पर प्रीमियम की राशि उम्र, स्वास्थ्य, लोन की अवधि के आधार पर तय होती है. इसके प्रीमियम का भुगतान भी हर महीने कर सकते हैं.
लोन का इंश्योरेंस कराते समय इन बातों का रखें ध्यान
लोन इंश्योरेंस में लोन लेने वाले व्यक्ति के एक्सिडेंट हो जाने, नौकरी नहीं नहीं रहने और मृत्यु हो जाने सहित कई विकल्प होते हैं जिनका ध्यान रखते हुए चुनाव करना चाहिए. इंश्योरेंस पॉलिसी में हर तरह की विकलांगता को कवर किया जाना जरूरी है. अगर आपने जॉइंट लोन ले रखा है तो उसे इंश्योरेंस कवर करता है या नहीं इस बात का भी ध्यान रखें. इसके अलावा प्रीमियम के भुगतान के लिए दिए जाने वाले ऑप्शन्स को भी पहले ही देख लेना चाहिए.
इंश्योरेंस खरीदने से पहले उसकी शर्तों को समझें
लोन का इंश्योरेंस खरीदते समय लिसी के नियम और शर्तों को भी ध्यान से पढ़कर समझ लेना चाहिए. इसके लिए आप इंश्योरेंस कराने वाले किसी भरोसमंद एजेंट या बैंक से ज्यादा जानकारी प्राप्त कर सकते हैं. क्योंकि ऐसा भी हो सकता है कि इधर प्रीमियम भरते रहें और बाद में क्लेम करने के वक्त वह आपके मामले में लागू ही ना हो.