रायपुर। फिल्म जगत के सुपर स्टार सलमान खान के घर में गोली चलवाने वाले मशहूर गैंग्स्टर लारेंस विश्नोई गैंग ने अपना दायरा बढ़ाते हुए छत्तीसगढ़ के दो बड़े उद्योगपति एवं व्यवसायी को मारने की सुपारी झारखंड के शातिर अमन साहू को दी थी।
पुलिस ने दो बड़े कारोबारियों की हत्या के षड़यंत्र का पर्दाफाश किया है। जिस पेशेवर अंदाज में कुख्यात गैंग के शूटर बिजनेसमैनों की हत्या करने आए थे, पुलिस ने उन्हें उसी अंदाज में धर दबोचा। इस संबंध में मिली जानकारी के अनुसार रायगढ़ से ताल्लुक रखने वाले रायपुर के एक बड़े कारोबारी के चश्मोचिराग को 27 मई को उड़ाने का प्लान था। वहीं, इस घटनाक्रम के दो दिन बाद याने 30 मई को कोरबा के एक बड़े कोयला ट्रांसपोर्टर और उसके भाई को रायगढ़ में हत्या करने की सुनियोजित योजना बनाई गई थी, मगर ऐन मौके पर रायपुर पुलिस की तत्परता, सजगता और कर्तव्य परायणता के कारण गैंगस्टरों की मंसूबों पर पूरी तरह से पानी फिर गया।
रायपुर पुलिस ने झारखंड के अमन साहू गैंग से जुड़े 4 शूटरों को गिरफ्तार किया है। पकड़े गए आरोपियों को छत्तीसगढ़ और झारखंड के बड़े कोयला कारोबारियों की हत्या की सुपारी मिली थी। इसके बाद इनमें से 3 शूटर रायपुर पहुंचे थे। जबकि एक को छत्तीसगढ़ पुलिस ने राजस्थान से गिरफ्तार किया है। रेंज आईजी अमरेश मिश्रा ने बताया कि, पकड़े गए शूटरों में पप्पू सिंह, देवेंद्र सिंह, रोहित स्वर्णकार और मुकेश कुमार है। इसमें पप्पू सिंह बाकी तीन शूटरों का मुखिया है और राजस्थान के पाली का रहने वाला है। पप्पू सिंह और उससे जुड़े शूटर लॉरेंस बिश्नोई गैंग के लिए भी काम कर चुके हैं। अमन सिंह गैंग को कोयला कारोबारियों से लेवी नहीं मिलने पर हत्या करने की सुपारी दी गई थी। आरोपियों से कहा गया था कि
अमन साहू लेवी और रंगदारी वसूली के लिए कुख्यात है। उसके गिरोह के कई सदस्य कोयला कारोबारियों, बिल्डरों, ट्रांसपोर्टरों और कारोबारियों से रंगदारी वसूल रहा है। अमन खुद भी खुलासा कर चुका है कि उसका लॉरेंस बिश्नोई से संबंध है। सोशल मीडिया पर अक्सर बातें होती हैं। उसका संबंध लॉरेंस के छोटे भाई अनमोल बिश्नोई के साथ भी है। अब एनआईए यह जांच कर रही है कि क्या अमन साहू गिरोह बिश्नोई गिरोह को हथियार के साथ शूटर भी उपलब्ध करा रहा है। कारोबारियों पर पिस्टल की पूरी मैगजीन खाली करनी है। पुलिस ने सभी आरोपियों को कोर्ट में पेश किया, जहां से उन्हें 8 दिन (2 जून) की रिमांड पर सौंपा गया है।
6 महीने पहले सीआईडी ने एटीएस को जो रिपोर्ट सौंपी थी उसके अनुसार अमन साहू के गिरोह में 145 गुर्गे हैं। इनमें 99 जेल से बाहर हैं। इस गैंग के पास 5 एके-47 सहित 250 से ज्यादा हथियार हैं। जेल जाने के बाद अमन साहू की गैंग को अमन के गाइडेंस पर मयंक सिंह चला रहा है। अमन पर कई थानों में 124 से ज्यादा केस दर्ज हैं। मयंक मूल रूप से यूपी के देवरिया का रहने वाला है। अमन साव गिरोह के पास 250 से अधिक हथियार हैं। जिसमें 9 कार्बाइन, 70 देसी कट्टा और 166 पिस्टल हैं।